आपदा को अवसर में बदलना तो कोई नौसेना के कैप्टन महेंद्र सिंह से सीखे। उत्तराखंड में कोरोना काल में लॉकडाउन के दौरान ढाई महीने तक अपने पैतृक गांव में फंसे कैप्टन महेंद्र सिंह सामंत ने खाली न बैठकर कुछ अलग करने की सोची। उन्होंने परंपरागत खेती की राह छोड़कर नई तकनीक से अदरक, तुलसी, कैमोमाइल, लहसुन और भिंडी की खेती शुरू की। इस खेती से उन्होंने अच्छी खासी आमदनी भी की। उनकी इस पहल ने क्षेत्र के किसानों को भी नई राह दिखाई है। कैप्टन महेंद्र ग्रामीणों के लिए नजीर बन गए हैं। अब पूरे क्षेत्र के लोग उनसे प्रभावित होकर उनकी राह पर चल पड़े हैं।