महान ग्रह बृहस्पति अपनी स्वराशि धनु की यात्रा समाप्त करके आज 20 नवंबर, शुक्रवार को दोपहर 1 बजकर 20 मिनट पर अपनी नीच राशि मकर में प्रवेश कर रहे हैं। मकर राशि शनि देव की राशि है और शनि स्वयं वर्तमान समय में इसी राशि पर गोचर कर रहे हैं अतः बृहस्पति के आ जाने से शनि और गुरु की एक साथ युति फलित ज्योतिष में अप्रत्याशित परिणाम दिलाने वाली सिद्ध होगी।
वक्री-मार्गी अवस्था में गोचर करते हुए गुरु मकर राशि में 20 नवंबर 2021 की रात्रि 11 बजकर 17 मिनट तक रहेंगे। उसके बाद कुंभ राशि में प्रवेश कर जाएंगे। धनु और मीन राशि के स्वामी गुरु कर्क राशि में उच्चराशिगत एवं मकर राशि में नीचराशिगत संज्ञक होते हैं। इनके राशि परिवर्तन का सभी बारह राशियों पर कैसा प्रभाव रहेगा इसका ज्योतिषीय विश्लेषण करते हैं।
वक्री-मार्गी अवस्था में गोचर करते हुए गुरु मकर राशि में 20 नवंबर 2021 की रात्रि 11 बजकर 17 मिनट तक रहेंगे। उसके बाद कुंभ राशि में प्रवेश कर जाएंगे। धनु और मीन राशि के स्वामी गुरु कर्क राशि में उच्चराशिगत एवं मकर राशि में नीचराशिगत संज्ञक होते हैं। इनके राशि परिवर्तन का सभी बारह राशियों पर कैसा प्रभाव रहेगा इसका ज्योतिषीय विश्लेषण करते हैं।