भारतीय क्रिकेट में हरियाणा हरिकेन के नाम से मशहूर रहे पूर्व कप्तान कपिल देव निखंज सोमवार को 61 साल के हो रहे हैं। उनकी कप्तानी में ही भारत ने 1983 में पहला क्रिकेट वर्ल्ड कप जीता। जन्मदिन की पूर्वसंध्या पर कपिल देव से पंकज शुक्ल ने की ये एक्सक्लूसिव बातचीत।
फिल्म 83 के लॉन्च के समय श्रीकांत ने कहा था कि हम तो सोच रहे थे कि 83 वर्ल्डकप में सेमीफाइनल राउंड तक ही हम बाहर हो जाएंगे, सबने अमेरिका आदि जाने की टिकटें तक बुक करा रखी थीं, लेकिन कपिल देव ने ही हमारे अंदर हिम्मत भरी कि हम जीत सकते हैं। क्या कहेंगे उनकी इस बात पर?
क्या कह सकते हैं? कैप्टन जो होता है वह थोड़ा पगला होता है। उसकी सोच थोड़ी अलग होती है। उसका तो यही काम होता है कि प्रेरित करना है, लड़ना है, जीतना है। लेकिन, हर खिलाड़ी का खेलने का अपना तरीका होता है। हम तो बड़े जोश में थे लेकिन कुछ खिलाड़ियों को जोश में लाने के लिए थोड़ा प्रेरित करने की जरूरत थी। बाकी ऐसा नहीं था कि वे जीतना नहीं चाहते थे लेकिन उससे पहले हम कभी जीते ही नहीं थे तो उसकी एक अलग सोच थी।
फिल्म 83 के लॉन्च के समय श्रीकांत ने कहा था कि हम तो सोच रहे थे कि 83 वर्ल्डकप में सेमीफाइनल राउंड तक ही हम बाहर हो जाएंगे, सबने अमेरिका आदि जाने की टिकटें तक बुक करा रखी थीं, लेकिन कपिल देव ने ही हमारे अंदर हिम्मत भरी कि हम जीत सकते हैं। क्या कहेंगे उनकी इस बात पर?
क्या कह सकते हैं? कैप्टन जो होता है वह थोड़ा पगला होता है। उसकी सोच थोड़ी अलग होती है। उसका तो यही काम होता है कि प्रेरित करना है, लड़ना है, जीतना है। लेकिन, हर खिलाड़ी का खेलने का अपना तरीका होता है। हम तो बड़े जोश में थे लेकिन कुछ खिलाड़ियों को जोश में लाने के लिए थोड़ा प्रेरित करने की जरूरत थी। बाकी ऐसा नहीं था कि वे जीतना नहीं चाहते थे लेकिन उससे पहले हम कभी जीते ही नहीं थे तो उसकी एक अलग सोच थी।