दवा कंपनी मॉडर्ना ने कोरोना वायरस के वैक्सीन के व्यापक पैमाने पर इस्तेमाल के लिए अमेरिका और यूरोप के नियामकों की मंजूरी मांगी है। नियामक एमआरएनए वैक्सीन के ट्रायल से जुड़े डेटा को देखेंगे और यह फैसला लेंगे कि यह सुरक्षित है कि नहीं। वो यह भी देखेंगे कि इसे सभी पर इस्तेमाल के लिए मंजूरी दी जा सकती है कि नहीं। क्लीनिकल अध्ययन यह दिखाता है कि मॉडर्ना की वैक्सीन कोरोना से बचाव में 94 फीसदी तक कामयाब है। फाइजर ने भी अमेरिका की मंजूरी के लिए आवेदन डाला है। फाइजर ने भी ऐसी ही वैक्सीन तैयार की है जो मॉडर्ना की वैक्सीन की तरह ही क्लीनिकल अध्ययन में असरदायी साबित हुई है।