शरद पूर्णिमा का महत्व
एक दूसरी मान्यता के अनुसार शरद पूर्णिमा की रात को देवी लक्ष्मी धरती पर भ्रमण करने के लिए आती हैं और जो व्यक्ति जागते हुए विष्णु के नाम का जप करता है देवी अपनी कृपा उस पर रखती हैं और सुख समृद्धि का आशीर्वाद देती हैं। इसके अलावा शरद पूर्णिमा पर भगवान कृष्ण गोपियों संग महारास रचाया था। शरद पूर्णिमा की रात को चांद की छटा देखने लायक रहती है। रात को चांद अपनी पूरी खूबसूरत छटा के साथ 16 कलाओं से परिपूर्ण रहता है।
एक दूसरी मान्यता के अनुसार शरद पूर्णिमा की रात को देवी लक्ष्मी धरती पर भ्रमण करने के लिए आती हैं और जो व्यक्ति जागते हुए विष्णु के नाम का जप करता है देवी अपनी कृपा उस पर रखती हैं और सुख समृद्धि का आशीर्वाद देती हैं। इसके अलावा शरद पूर्णिमा पर भगवान कृष्ण गोपियों संग महारास रचाया था। शरद पूर्णिमा की रात को चांद की छटा देखने लायक रहती है। रात को चांद अपनी पूरी खूबसूरत छटा के साथ 16 कलाओं से परिपूर्ण रहता है।