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स्वच्छता मिशन की सफलता के लिए बड़े—बड़े दावे सरकार और जनप्रतिनिधियों की ओर से किए जा रहे है। लेकिन, राजस्थान के बारां स्थित कृषि उपज मंडी में इन दावों की जमकर धज्जियां उड़ रही है। ये जानबूझकर नहीं हो रहा बल्कि सरकारी तंत्र में खामियों के कारण हो रहा है।
आरएसी के डेल्टा कंपनी के द्वितीय बटालियन के दो दर्जन जवान कृषि उपज मंडी स्थित अस्थाई भवन में रहते हैं। यहां इनके लिए शौचालय की सुविधा नहीं है और ये जवान सुबह खुले में शौच के लिए मजबूर है।
इन जवानों का कहना है कि उन्हें खुले में शौच जाने पर शर्म आती है, लेकिन मजबूरी में क्या करें। कई बार अधिकारियों को भी इस समस्या के बारे में बताया, पर कोई समाधान नहीं हुआ। हालांकि, मंडी परिसर में सुलभ शौचालय बना हुआ है लेकिन उसका भी ताला ही नहीं खुलता।
गौरतलब है कि स्वच्छ भारत मिशन के तहत केन्द्र सरकार गांवों में भी पक्के शौचालय बनवा रही है। यहां तक कि इसके लिए पैसा भी सरकार ही मुहैया करवाती है।
स्वच्छता मिशन की सफलता के लिए बड़े—बड़े दावे सरकार और जनप्रतिनिधियों की ओर से किए जा रहे है। लेकिन, राजस्थान के बारां स्थित कृषि उपज मंडी में इन दावों की जमकर धज्जियां उड़ रही है। ये जानबूझकर नहीं हो रहा बल्कि सरकारी तंत्र में खामियों के कारण हो रहा है।
आरएसी के डेल्टा कंपनी के द्वितीय बटालियन के दो दर्जन जवान कृषि उपज मंडी स्थित अस्थाई भवन में रहते हैं। यहां इनके लिए शौचालय की सुविधा नहीं है और ये जवान सुबह खुले में शौच के लिए मजबूर है।
इन जवानों का कहना है कि उन्हें खुले में शौच जाने पर शर्म आती है, लेकिन मजबूरी में क्या करें। कई बार अधिकारियों को भी इस समस्या के बारे में बताया, पर कोई समाधान नहीं हुआ। हालांकि, मंडी परिसर में सुलभ शौचालय बना हुआ है लेकिन उसका भी ताला ही नहीं खुलता।
गौरतलब है कि स्वच्छ भारत मिशन के तहत केन्द्र सरकार गांवों में भी पक्के शौचालय बनवा रही है। यहां तक कि इसके लिए पैसा भी सरकार ही मुहैया करवाती है।